????अवैध प्लाटिंग???? कृषि भूमि पर बसा रहे कॉलोनी, स्लिमनाबाद के धरवारा में धड़ल्ले से हो रही अवैध प्लाटिंग, जिम्मेदार अधिकारियों की अनदेखी से भूमाफियों के हौसले बुलंद

????अवैध प्लाटिंग????

कृषि भूमि पर बसा रहे कॉलोनी, स्लिमनाबाद के धरवारा में धड़ल्ले से हो रही अवैध प्लाटिंग, जिम्मेदार अधिकारियों की अनदेखी से भूमाफियों के हौसले बुलंद

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कटनी। इन दिनों स्लीमनाबाद तहसील मुख्यालय सहित संपूर्ण तहसील क्षेत्र में भू माफियाओं द्वारा तमाम नियम और कायदे-कानूनों को दरकिनार कर धड़ल्ले से अवैध प्लाटिंग की जा रही है। जिसका प्रमुख कारण जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही है। ताजा मामला स्लीमनाबाद तहसील की ग्राम पंचायत धरवारा का सामने आया है। यहां भूमाफियों द्वारा नियम कायदों को दरकिनार कर अवैध प्लाटिंग की जा रही है। कृषि भूमि पर कॉलोनी बनाई जा रही है। भूमि को बिना डायवर्सन कराये व बिना आवासीय भूमि में तब्दील कराए अवैध प्लाटिंग कर अनेकों लोगों को प्रति वर्ग फुट की दर से विक्रय की जा रही है।

जानकारी के अनुसार धरवारा अवैध प्लाटिंग पर राजस्व विभाग के अधिकारियों के द्वारा कार्रवाई न होने से ग्राम पंचायत सरपंच ने कलेक्टर को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की है। पत्र में बताया गया है कि ग्राम पंचायत धरवारा खसरा नंबर 540 में कटनी निवासी चक्रधर, विजय प्रताप व रामलाल द्वारा 3-4 एकड़ भूमि पर बिना अनुज्ञा व सक्षम अधिकारी की अनुमति से अवैध कॉलोनी विकसित की जा रही है, जबकि उक्त भूमि कृषि मद में दर्ज है। भूमि पर कुछ खरीददारों के नामांतरण हो चुके है और कुछ के होना बाकी है। दरअसल किसी भी भूमि का विक्रय होने के बाद रजिस्ट्री, डायवर्सन और नामांतरण की प्रक्रिया होती है, लेकिन इस दौरान अधिकारियों द्वारा प्रकरण की जांच नहीं की जाती, जिस कारण से भू माफियाओं के हौसले बुलंद हैं और वे धड़ल्ले से कृषि भूमियों पर प्लाटिंग करने में लगे हैं।

रेरा नियमों का नहीं किया जा रहा पालन

सरकार द्वारा बनाया गया रियल एस्टेट अधिनियम 2016 यानी रेरा एक्ट का मकसद रियल एस्टेट से जुड़े लेन-देन में पारदर्शिता लाना, जवाबदेही बढ़ाना और घर तथा भूमि खरीदारों की सुरक्षा करना है। प्लॉटिंग और जमीनों का विक्रय करने वाले हर व्यक्ति को रेरा एक्ट के तहत अनुमति लेना और क्रेता को प्लॉट के साथ बिजली, पानी, सडक जैसी मूलभूत सुविधाएं देना अनिवार्य है। लेकिन ज्यादातर कारोबारी किसी भी नियम का पालन नहीं कर रहे हैं। जमीन कारोबारी मुख्य मार्गों से 10-10 किलोमीटर दूर खेतों के बीच प्लॉट काटकर बेच रहे हैं। जहां बिजली, पानी, सडक आदि की सुविधा नहीं है। प्लॉट विक्रय के बाद जब रजिस्ट्री की जाती है तब रजिस्ट्रार की जिम्मेदारी होती है कि वे यह सुनिश्चित करें कि क्रेता को बिना मूलभूत सुविधा वाली कृषि भूमि का विक्रय तो नहीं किया जा रहा। लेकिन अधिकारी किसी भी प्रकरण में इसकी जांच नहीं करते। इसके बाद डायवर्सन के समय एसडीएम और नामांतरण के समय तहसीलदार को भी इसकी जांच करनी चाहिए। लेकिन वहां भी अधिकारी जांच नहीं करते, जिसके चलते पूरे तहसील क्षेत्र में धड़ल्ले से कृषि भूमियों पर प्लॉटिंग करते हुए बिना मूलभूत सुविधाओं वाली जमीनों पर प्लॉट काटकर बेचे जा रहे हैं।

नायब तहसीलदार ने कहा पटवारी ने की जांच

ग्राम पंचायत धरवारा सरपच व उपसरपंच ने जब हल्का पटवारी को इस संबंध में जानकारी दी तो हल्का पटवारी ने मौके पर पहुंचकर अवैध प्लाटिंग का पंचनामा बनाया। नायव तहसीलदार राजकुमार नामदेव का कहना है कि हल्का पटवारी ने धरवारा में अवैध प्लाटिंग का जांच प्रतिवेदन दिया है। कार्रवाई के लिए। प्रतिवेदन भेजा जाएगा। इनका कहना

बहोरीबंद एसडीएम राकेश चौरसिया ने कहा स्लीमनाबाद तहसील के धरवारा में अवैध प्लाटिंग का मामला संज्ञान में आया है। तहसीलवार के माध्यम से जांच प्रतिवेदन प्राप्त होने के बाद संबंधित प्लॉट विक्रेताओं को नोटिस जागी किए जाएंगे। इसके साथ ही विक्रेताओं के दस्तावेज और टैक्स जमा करने के संबंध में भी जांच की जाएगी। यदि प्लाटिंग संबंधी नियम वरकिनार किये गए है तो कार्रवाई प्रस्तावित की जाएगी।

????अवैध प्लाटिंग????
कृषि भूमि पर बसा रहे कॉलोनी, स्लिमनाबाद के धरवारा में धड़ल्ले से हो रही अवैध प्लाटिंग, जिम्मेदार अधिकारियों की अनदेखी से भूमाफियों के हौसले बुलंद

 

कटनी। इन दिनों स्लीमनाबाद तहसील मुख्यालय सहित संपूर्ण तहसील क्षेत्र में भू माफियाओं द्वारा तमाम नियम और कायदे-कानूनों को दरकिनार कर धड़ल्ले से अवैध प्लाटिंग की जा रही है। जिसका प्रमुख कारण जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही है। ताजा मामला स्लीमनाबाद तहसील की ग्राम पंचायत धरवारा का सामने आया है। यहां भूमाफियों द्वारा नियम कायदों को दरकिनार कर अवैध प्लाटिंग की जा रही है। कृषि भूमि पर कॉलोनी बनाई जा रही है। भूमि को बिना डायवर्सन कराये व बिना आवासीय भूमि में तब्दील कराए अवैध प्लाटिंग कर अनेकों लोगों को प्रति वर्ग फुट की दर से विक्रय की जा रही है।
जानकारी के अनुसार धरवारा अवैध प्लाटिंग पर राजस्व विभाग के अधिकारियों के द्वारा कार्रवाई न होने से ग्राम पंचायत सरपंच ने कलेक्टर को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की है। पत्र में बताया गया है कि ग्राम पंचायत धरवारा खसरा नंबर 540 में कटनी निवासी चक्रधर, विजय प्रताप व रामलाल द्वारा 3-4 एकड़ भूमि पर बिना अनुज्ञा व सक्षम अधिकारी की अनुमति से अवैध कॉलोनी विकसित की जा रही है, जबकि उक्त भूमि कृषि मद में दर्ज है। भूमि पर कुछ खरीददारों के नामांतरण हो चुके है और कुछ के होना बाकी है। दरअसल किसी भी भूमि का विक्रय होने के बाद रजिस्ट्री, डायवर्सन और नामांतरण की प्रक्रिया होती है, लेकिन इस दौरान अधिकारियों द्वारा प्रकरण की जांच नहीं की जाती, जिस कारण से भू माफियाओं के हौसले बुलंद हैं और वे धड़ल्ले से कृषि भूमियों पर प्लाटिंग करने में लगे हैं।
रेरा नियमों का नहीं किया जा रहा पालन
सरकार द्वारा बनाया गया रियल एस्टेट अधिनियम 2016 यानी रेरा एक्ट का मकसद रियल एस्टेट से जुड़े लेन-देन में पारदर्शिता लाना, जवाबदेही बढ़ाना और घर तथा भूमि खरीदारों की सुरक्षा करना है। प्लॉटिंग और जमीनों का विक्रय करने वाले हर व्यक्ति को रेरा एक्ट के तहत अनुमति लेना और क्रेता को प्लॉट के साथ बिजली, पानी, सडक जैसी मूलभूत सुविधाएं देना अनिवार्य है। लेकिन ज्यादातर कारोबारी किसी भी नियम का पालन नहीं कर रहे हैं। जमीन कारोबारी मुख्य मार्गों से 10-10 किलोमीटर दूर खेतों के बीच प्लॉट काटकर बेच रहे हैं। जहां बिजली, पानी, सडक आदि की सुविधा नहीं है। प्लॉट विक्रय के बाद जब रजिस्ट्री की जाती है तब रजिस्ट्रार की जिम्मेदारी होती है कि वे यह सुनिश्चित करें कि क्रेता को बिना मूलभूत सुविधा वाली कृषि भूमि का विक्रय तो नहीं किया जा रहा। लेकिन अधिकारी किसी भी प्रकरण में इसकी जांच नहीं करते। इसके बाद डायवर्सन के समय एसडीएम और नामांतरण के समय तहसीलदार को भी इसकी जांच करनी चाहिए। लेकिन वहां भी अधिकारी जांच नहीं करते, जिसके चलते पूरे तहसील क्षेत्र में धड़ल्ले से कृषि भूमियों पर प्लॉटिंग करते हुए बिना मूलभूत सुविधाओं वाली जमीनों पर प्लॉट काटकर बेचे जा रहे हैं।
नायब तहसीलदार ने कहा पटवारी ने की जांच
ग्राम पंचायत धरवारा सरपच व उपसरपंच ने जब हल्का पटवारी को इस संबंध में जानकारी दी तो हल्का पटवारी ने मौके पर पहुंचकर अवैध प्लाटिंग का पंचनामा बनाया। नायव तहसीलदार राजकुमार नामदेव का कहना है कि हल्का पटवारी ने धरवारा में अवैध प्लाटिंग का जांच प्रतिवेदन दिया है। कार्रवाई के लिए। प्रतिवेदन भेजा जाएगा। इनका कहना
बहोरीबंद एसडीएम राकेश चौरसिया ने कहा स्लीमनाबाद तहसील के धरवारा में अवैध प्लाटिंग का मामला संज्ञान में आया है। तहसीलवार के माध्यम से जांच प्रतिवेदन प्राप्त होने के बाद संबंधित प्लॉट विक्रेताओं को नोटिस जागी किए जाएंगे। इसके साथ ही विक्रेताओं के दस्तावेज और टैक्स जमा करने के संबंध में भी जांच की जाएगी। यदि प्लाटिंग संबंधी नियम वरकिनार किये गए है तो कार्रवाई प्रस्तावित की जाएगी।

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